9 May 2022 | 1 min Read
Tinystep
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शिशुओं में खांसी और ज़ुकाम बहुत आम बात हैं, आपको इसे नजरअंदाज नहीं करना चाहिए। खासकर सर्दियों और मानसून के दौरान, शिशुओं को खांसी और ज़ुकाम होने की संभावना होती है। यहाँ हम शिशुओं की सर्दी और खांसी के लिए शीर्ष आयुर्वेदिक नुस्खें के बारे में बात करेंगे:
आधे चम्मच शहद को गरम पानी में मिलाकर बच्चे को पिलाएं। शहद एंटीसेप्टिक है और आपके बच्चे के नाज़ुक प्रतिरक्षा प्रणाली के लिए अच्छा है। यह आयुर्वेदिक उपचार एक वर्ष की आयु से कम उम्र के बच्चों के लिए नहीं है।
यह आयुर्वेदिक उपाय ज़ुकाम का इलाज करने का सबसे प्रभावी तरीकों में से एक है। उबलते पानी में थोड़ा अदरक मिलाएं। जब पानी उबलने लगता है ,तब एक चम्मच शहद उसमें घोल दीजिये और इसे अपने बच्चे को पिलाने से पहले पिलाने लायक तापमान होने तक की प्रतीक्षा करें।
पानी में कुचले हुए लहसुन के 2-3 फली उबालें, और फिर उसे ठंडा होने दें। इस पानी में, कुछ शहद, लाल मिर्च पाउडर की एक चुटकी, और नींबू के कुछ बूंदें मिलाएं। यह आयुर्वेदिक समाधान बच्चों को आवश्यकतानुसार कई बार दिया जा सकता है।
उबलते पानी में एक चुटकी हल्दी डालकर उसके ठंडे होने की प्रतीक्षा करें। इस घोल में कुछ गुड़ (या घी का आधा चम्मच), और एक चुटकी नमक का मिलाएं। यह आयुर्वेदिक मिश्रण बच्चे को खांसी से छुटकारा पाने के लिए दिया जा सकता है। हल्दी संक्रमण से लड़ने में मदद करता है और शरीर में किसी भी तरह की सूजन को हटाता है।
एक कप गर्म पानी में एक कैमोमाइल चाय के बैग १० मिनट के लिए भिगोएँ और इसे अपने बच्चे को पिलाएं। यह चाय केवल 6 महीने के आयु से ऊपर के बच्चों को पिलाया जा सकता है। यह गले के संक्रमण के लिए सबसे अच्छा काम करता है।
जब आपका बच्चा खांसी और सर्दी की चपेट में आ जाता हैं, तो वह चिड़चिड़ा हो जाता है और ठीक से सो भी नहीं पाता । वाणिज्यिक दवाओं का उपयोग करने के बजाय, आयुर्वेदिक घरेलु नुस्खों को चुनें।यह आपके बच्चे के लिए हानिकारक नहीं है और इनके साइड इफेक्ट भी बहुत कम होतें हैं।
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