vastu shastra swastha pregnancy ke liye

vastu shastra swastha pregnancy ke liye

20 Apr 2022 | 1 min Read

Tinystep

Author | 2574 Articles


भारत ही नहीं, विदेशों में भी काफी लोग वास्तु शास्त्र का पालन करते हैं। यदि आप गर्भावस्था में हैं, तो यह रहे कुछ उपयोगी वास्तु टिप्स आपकी हेल्थी प्रेगनेंसी के लिए। वास्तु शास्त्र का पालन अनिवार्य नहीं हैं , परन्तु यदि यह आप और आपके शिशु के लिए उपयोगी है तो क्यों न इसे आज़मा के देखें।

1. नार्थ – ईस्ट ( North-East) दिशा में व्ययायम करें!

वास्तु शास्त्र के मुताबित, नार्थ – ईस्ट दिशा में व्यायाम करना प्रेगनेंसी के लिए अच्छा माना जाता है। यह इसलिए क्यूकि इस दिशा के गुरु “एशान्य” होते हैं। यह बहुत ही महत्वपूर्ण और आध्यात्मिक रूप से प्रबल दिशा भी है।

 

2. पूर्व (east) दिशा

अगर गर्भावस्था में कभी आपको कमज़ोर महसूस हो तो आप घर में पूर्व दिशा के कोने में समय बिताएँ। पूर्व दिशा के गुरु “इंद्र” होते हैं जिन्हें जंग और मौसम के देव भी माना जाता है। इंद्र का, सूर्योदय पर नियंत्रण होता है। इसलिए यह दिशा, हड्डी , आँख और रक्त बहाव को भी प्रभावित करती है।

3. दक्षिण (south) और दक्षिण-पूर्व (south-east) दिशा से दूर रहें

पहले तिमाही में दक्षिण और पूर्व-दक्षिण दिशा से दूर रहना बेहतर होता है। यह इसलिए क्यूकि, यह माना जाता है कि पूर्व-दक्षिण दिशा में अग्नि का निवास होता है और दक्षिण दिशा में यमराज का। तो यह दिशाएँ गर्भावस्था में सही नहीं मानी जाती है।

4. दक्षिण दिशा की ओर सर रखकर सोयें

क्या गर्भावस्था में आपको सोने में परेशानी हो रही हैं? यदि हाँ , तो आइये देखते हैं वास्तु क्या कहता है। वास्तु शास्त्र के मुताबित गर्भवती महिलायों को दक्षिण की ओर सर रखकर सोना चाहिए। यह माँ और शिशु दोनों की सेहत के लिए अच्छा होता है।

5. कांटेदार पौधों से दूर रहें

घर में गर्भावस्था के दौरान कांटेदार पौधों से परहेज करें। इसके अतिरिक्त बोन्साई पौधों से भी परहेज करें, क्यूकि यह मंद विकास का प्रतीक होते हैं। इसे गर्भावस्था में शुभ नहीं मन जाता है।

कुछ आम बातें जिनका पालन, गर्भावस्था में, हर महिला को करना चाहिए –

1. इलेक्ट्रॉनिक गैजेट्स से जितना हो सके दूर रहें।

2. ताज़ी और खुली जगह में रहें।

3. रंगों में, हलके रंगों का चुनाव करें। .

4. अच्छी किताबों का अध्ययन करें।

5. बेडरूम में स्वस्थ बच्चों की तस्वीर लगायें।

6. जंग, अहिंसा जताती तस्वीरों से दूर रहें।

7. कमरे का बीच का भाग जितना खाली हो उतना बेहतर है।

वास्तु शास्त्र की अपने आप में बहुत बड़ी दुनिया है। इनमें कुछ बातें वैज्ञानिकों ने भी अपनाई है। हम आशा करते हैं आप और शिशु , दोनों खुश और स्वस्थ रहें। 

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