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नयीं मां के लिए अलीव/हलीम के लड्डू क्यों जरूरी है ?

नयीं मां के लिए अलीव/हलीम के लड्डू क्यों जरूरी है ?

3 Apr 2019 | 1 min Read

Durga salvi

Author | 4 Articles

अलीव को ज़रूरी और अच्छी मात्रा में लिया जाए, तो ये सेहत के लिए बेहतर होता है। इसे आयरन, कैल्शियम, फोलेट, विटामिन और प्रोटीन का अच्छा स्रोत माना जाता है। अलीव को पाउडर का रूप में इस्तेमाल किया जा सकता है। भारत के कई हिस्सों में नवप्रसूताओं को अलीव का लड्डू खिलाया जाता है।

 

गर्भावस्था और प्रसव के बाद नवप्रसूता को विशेष देखभाल की ज़रूरत होती है। उसे ज़्यादा से ज़्यादा मात्रा में पौष्टिक आहार मिलना चाहिए,  जिससे वो स्वस्थ बच्चे को जन्म दे सके। इतना ही नहीं स्तनपान कराने के दौरान भी महिलाओं को ऐसे खाद्य पदार्थ लेने चाहिए, जिससे भरपूर पोषण और एनर्जी मिल सके। ऐसा ही एक पौष्टिक आहार है – अलीव के लड्डू।

 

क्या होता है अलीव ?

 

अलीव भूरे रंग के बीज होते हैं, जो अपने औषधीय गुणों के लिए जाने जाते हैं। इसे अंग्रेज़ी में गार्डन क्रेस सीड्स कहते हैं। इसमें पर्याप्त मात्रा में आयरन, फॉलिक एसिड, कैल्शियम, विटामिन्स और प्रोटीन होते हैं।

 

अलीव के फ़ायदे

 

प्रसव के बाद अलीव के लड्डू बनकार खाने की परंपरा है। आयुर्वेद में भी गर्भावस्था के आखिरी ट्राइमेस्टर या प्रसव के बाद ही अलीव खाने की सलाह दी जाती है। स्तनपान कराने के दौरान भी महिलाएं इनका सेवन कर सकती हैं। इससे दूध की कमी नहीं होती है। ये नवप्रसूता और नवजात दोनों के लिए काफी फ़ायदेमंद होता है। यह इम्यून सिस्टम को ठीक रखता है। इसे एंटी कैंसर भी माना जाता है। प्रसव के बाद आंख संबंधी समस्याओं से बचाता है और आंखे स्वस्थ रहती हैं। अलीव यादास्त को मजबूत बनाता है। मानसिक अवसाद को रोकता है।

 

लेकिन गर्भावस्था के शुरुआती महीनों में अलीव का सेवन नहीं करने की सलाह दी जाती है। दरअसल अलीव के बीजों में गर्भाशय संकुचन की क्षमता होती है, जिसके चलते गर्भपात का खतरा हो सकता है। इसलिए शुरुआती दिनों में इसका सेवन बिल्कुल ना करें।

 

कितनी मात्रा में व कैसे करें सेवन?

 

शुरुआत में रोजाना एक चाय चम्मच अलीव लेना चाहिए और कुछ दिनों के बाद दिन में दो बार लिया जा सकता है।

 

कैसे करें अलीव सेवन?

 

अलीव के बीजों को हल्का भून कर नमक के साथ लिया जा सकता है। 

 

अलीव के लड्डू भी बनाए जा सकते हैं।

 

अलीव के लड्डू बनाने की सामग्री

  • अलीव – 50 ग्राम
  • कसा हुआ नारियल – 125 ग्राम
  • गुड़ – 250 ग्राम
  • घी – एक बड़ा चम्मच
  • काजू – दो बड़े चम्मच
  • बादाम – ½ कप
  • इलायची पाउडर – एक छोटा चम्मच

 

लड्डू बनाने की विधि

 

सबसे पहले अलीव को 3-4 घंटे तक भिगों दें। बादाम को पीसकर पाउडर बना लें और काजू को 6-7 छोटे-छोटे टुकड़ों में काट लें। एक पैन को गैस पर चढ़ा लें और एक बड़ा चम्मच घी डालें। घी गर्म हो जाने के बाद आंच कम कर दें और इसमें गुड़ मिलाएं। गुड़ के पिघलने के बाद इसमें नारियल और भीगा हुआ अलीव मिलाएं। इसे 7-8 मिनट तक तेज आंच पर पकाएं, जब अतिरिक्त पानी सूख जाएगा, तो आंच कम कर दें। अब इस मिश्रण में कटे काजू, बादाम पाउडर और हरी इलायची पाउडर मिलाएं। सबको अच्छी तरह से मिला लें और फिर गैस बंद कर दें। एक कटोरे में मिश्रण को निकालें और ठंडा होने दें। अब लड्डू बनाने के लिए हथेलियों को घी से चिकना करें और कुछ मात्रा में मिश्रण लेकर लड्डुओं का आकार दें। इन लड्डूओं को फ़्रीज़ में 10-12 दिनों तक रखा जा सकता है।

 

नोट- एक चम्मच अलीव का एक महीने प्रतिदिन सेवन करने से हीमोग्लोबिन की मात्रा ठीक हो सकती है। लेकिन अगर आप हाइपोथायराइड से पीड़ित हैं, तो अलीव न खायें। अलीव के बीजों में पाया जाने वाला नाइट्रोजन शरीर में आयोडीन की आपूर्ति को प्रभावित करता है । 

 

यह भी पढ़ें: डिलीवरी के बाद पोषक आहार में इन खाद्य पदार्थो को शामिल जरूर करें

 

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