26 May 2022 | 1 min Read
Vinita Pangeni
Author | 549 Articles
बच्चे के पैदा होते ही उसकी हर छोटी-बड़ी बात पर गौर करना पड़ता है। कुछ ऐसा ही फीडिंग के साथ भी है। बच्चा सही तरह से दूध पी रहा है या नहीं व खा रहा है या नहीं, इस पर ध्यान देना पड़ता है। हो सकता है कि बच्चा मुंह में निप्पल लगाकर रखता हो, लेकिन दूध पीता न हो। कटोरी में प्यूरी लेकर रखता हो पर उसे खत्म करने की जगह कपड़े में या इधर-उधर गिरा देता है। यह कुछ और नहीं, बल्कि फीडिंग प्रॉब्लम (Feeding problem) हो सकती है।
जब बच्चा अपनी उम्र के अनुसार जरूरत से कम या ज्यादा खाता या पीता है, तो उसे फीडिंग प्रॉब्लम कहते हैं।
छोटे बच्चों में होने वाले भोजन विकार को फीडिंग प्रॉब्लम कहा जाता है। जब यह परेशानी पूर्व-किशोर (pre-teens), किशोरों और वयस्कों में होती है, तो इसे ईटिंग डिसऑर्डर कहा जाता है।
कभी-कभी फीडिंग प्रॉब्लम बिना इलाज के ठीक हो जाती है। कुछ मामलों में शिशु या बच्चे को डॉक्टर को दिखाने की जरूरत भी होती है।
कम्यूनिटी एक्सपर्ट, लैक्टेशन व न्यूट्रिशन, पूजा मराठे बताती हैं शैशवावस्था (Infancy) या प्रारंभिक बचपन में फीडिंग प्रॉब्लम व आहार विकार तब होता है जब कोई शिशु या 6 वर्ष से कम उम्र का बच्चा स्वस्थ रहने के लिए पर्याप्त खाने से इनकार कर देता है। यह पेट की समस्या जैसे किसी चिकित्सीय स्थिति के कारण नहीं होता है।
दूध पिलाने में गड़बड़ी के परिणामस्वरूप, शिशु या बच्चे का सामान्य रूप से वजन नहीं बढ़ पाता है। बाल चिकित्सा आहार विकार, जिन्हें परिहार/प्रतिबंधात्मक भोजन सेवन विकार (Avoidant/Restrictive food intake disorders) भी कहा जाता है, ऐसी स्थितियां हैं, जिनमें बच्चा खाने से परहेज करता है या खाने को सीमित कर देता है कि वह क्या या कितना खाएगा।
इससे वजन घटने, पोषण की कमी, पोषक तत्वों के सप्लीमेंट की आवश्यकता या दैनिक गतिविधियों में समस्याएं उत्पन्न कर सकता है।
कभी-कभी बच्चा चूसने, चबाने या निगलने में सक्षम नहीं होने के कारण दूध पीने में या फीडिंग में प्रॉब्लम होती है। इसका कारण बर्थ डिफेक्ट फांक तालु (cleft palate) या टंग टाई (tongue tie) से उपजी हो सकती है।
पूजा मराठे के अनुसार, शिशु को दूध पिलाने और निगलने की समस्याओं के कुछ संभावित कारणों में शिशु का समय से पहले जन्म, शिशु का जन्म के समय कम वजन, कुछ दर्दनाक जन्म से मौजूद चोटें (सेरेब्रल पाल्सी) और खाने और सांस लेने में समन्वय संबंधी समस्या शामिल हैं।
जब कारण कम स्पष्ट हो, तो आप इन संकेतों को देख सकते हैं:
परिवार में शामिल फीडिंग प्रॉब्लम के लक्षण :
फीडिंग प्रॉब्लम का बचाव नहीं किया जा सकता है। हां, कुछ तरीकों से बच्चे को खाना खिलाने के लिए प्रोत्साहित किया जा सकता है।
फीडिंग प्रॉब्लम सामान्य रूप से विकासशील बच्चों में 25% तक रहती है। साथ ही न्यूरोडेवलपमेंटल डिसेबिलिटी के कारण 35% बच्चों में होती है। यह फीडिंग प्रॉब्लम भोजन खाने में दिक्कत या खाने में या दूध पीने में आनाकानी करना है।
अब आप समझ ही गए होंगे कि फीडिंग प्रॉब्लम क्या है और इससे कैसे निपटना चाहिए। अगर कभी भी आपको लगे कि शिशु बहुत दिनों से दूध पीने व खाना खाने में आनाकानी कर रहा है, तो बिना देर किए तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें।
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