फिर से नया साल आने का समय आ गया है। अगर आप न्यू मॉम हैं तो जाहिर है आपके लिए इस शब्द का मायने नहीं रखता। मगर सच कहे तो यह गलत है, आप इस साल यह न्यू ईयर रेजोल्यूशन लीजिए कि चाहे आप एक बच्चे की माँ हो या पाँच बच्चों की माँ आप खुद को सबसे पहले प्यार करेंगी। जब तक माँ खुद से प्यार नहीं करेगी तब तक वह बच्चे से और अपने फैमिली से प्यार नहीं कर सकती। इसलिए न्यू मॉम के लिए खुश रहने का मंत्र है खुद को प्यार करें।
वैसे ही न्यू मॉम बच्चों की देखरेख और साथ में फैमिली की टेककेयर करने में खुद को देखना ही भूल जाती हैं। फलस्वरूप उसका असर उनके दिल, दिमाग, शारीरिक और मानसिक अवस्था पर पड़ने लगता है। फलस्वरूप कुछ माँ पोस्टपार्टम डिप्रेशन शिकार हो जाती हैं तो कुछ पहले की तुलना में ज्यादा चिड़चिड़ी हो जाती हैं। इसी बात को ध्यान में रखकर हम कुछ ऐसे टिप्स आपसे शेयर करने जा रहे हैं जो न्यू मॉम के खुश रहने का मंत्र होता है।
न्यू मॉम का न्यू ईयर रेजोल्यूशन और खुश रहने का मंत्र/चित्र स्रोत: फ्रीपिक
न्यू मॉम का न्यू ईयर रेजोल्यूशन और खुश रहने का मंत्र। New Year Resolutions for Moms
आप अपने बच्चे के लिए बेस्ट माँ हैं– हर माँ खुद को दूसरे माँ से तुलना करती हैं या परिवार के लोग भी जाने अनजाने यह समझाने लगते हैं कि माँ के तौर पर उसमें बहुत खामियाँ है। लेकिन एक बात समझने की जरूरत है कि आप खुद को दूसरों से तुलना न करें। एक माँ के रूप में हर किसी की अपनी ताकत और कमजोरियाँ होती हैं – एक के लिए जो काम करता है वह अगले के लिए बिल्कुल भी काम नहीं कर सकता है, इसलिए आप संभवतः किसी दूसरी माँ से अपनी तुलना करके खुद को परेशान करना बंद करें। आप बस एक ही बात मानें कि आप अपने बच्चे के लिए बेस्ट माँ हैं।
खुद के लिए समय निकालें- हर माँ के लिए जरूरी होता है वह मी टाइम निकालें। वह पहले जैसी अपनी त्वचा की देखभाल करती थी, ठीक उसी तरह से हाथ, पैर, बाल और शरीर के अन्य अंगों की देखभाल करें। अगर डिलीवरी के बाद आपकी स्किन ड्राई हो जाने के कारण एड़ियाँ फटने लगी हैं तो फूट केयर क्रीम रोजाना लगाने के लिए कम से कम एक मिनट का समय निकालें।
डिलीवरी के बाद बदन दर्द को नजरअंदाज न करें– ज्यादातर माँ को डिलीवरी के बाद बदन, गर्दन, जोड़ों में दर्द होता है। इसके लिए पोस्टपार्टम मसाज बहुत काम आता है। इससे न सिर्फ मसल्स रिलैक्स होते हैं बल्कि ब्रेस्टफीडिंग की प्रक्रिया भी बेहतर तरीके से होती है।
खुद को दोष देना बंद करें- अक्सर माँ यह सोचती हैं कि जो वह अपने बच्चे के लिए कर रही हैं वह पर्याप्त नहीं है। शायद समय पर बच्चे को खिला नहीं पा रही हैं या सुला नहीं पा रही हैं आदि आदि। ऐसा सोचना बिल्कुल गलत है। नकारात्मक सोच आपके और आपके बच्चे दोनों के लिए परेशानी खड़ा कर सकता है। आपके जानकारी के लिए बता दें कि अगर आपका बच्चा निप्पल में क्रैक होने के कारण दूध अच्छी तरह से पी नहीं पा रहा है तो नेचुरल निप्पल बटर क्रीम जरूर लगाएं।
ना कहना सीखें– खुद की मदद करने के लिए सबसे पहले ना कहना सीखना जरूरी है। आप अकेले की बच्चे को संभाल रही हैं, घर का काम कर रही हैं, फैमिली की देख रेख कर रही हैं। कोई भी अकेले सब कुछ नहीं कर सकता है, इसलिए कुछ कामों के लिए आपको न कहना सीखना पड़ेगा, जैसे कि पार्टनर के लिए कपड़े तैयार करके देना, उनके लिए हर दिन नया रेसिपी बनाना आदि। आप इस बारे में पार्टनर से बात करें।
मदद मांगना सीखें- आप सुपरवुमन हैं लेकिन फिर भी आपको मदद की जरूरत पड़ सकती है, इस बात को मानिए। हम सभी को अपने जीवन में किसी न किसी मोड़ पर मदद की जरूरत होती है। याद रखें, मदद मांगना ताकत की निशानी है, कमजोरी की नहीं।
बच्चों के साथ एक्स्ट्रा टाइम बिताएं- जितना आप अपने बच्चे के साथ समय बिताएंगी आपको खुशी मिलेगी। उसका स्पर्श, उसकी मुस्कान आपकी थकान और उदासी को छूमंतर कर देगा। यही आपके लिए खुश रहने का मंत्र है।
आशा करते हैं इन टिप्स से आप समझ गई होंगी कि आपके लिए खुश रहने का मंत्र क्या है। कौन-सी छोटी-छोटी चीजें आपके जीवन में खुश रहने का मंत्र बनकर आ सकता है।
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